हनी ट्रैप केस: कांग्रेस नेता मानक अग्रवाल ने कहा शिवराज के राज में ही यह धंधा  फलाफूला 

हनी ट्रैप केस: कांग्रेस नेता मानक अग्रवाल ने कहा शिवराज के राज में ही यह धंधा  फलाफूला
मध्य प्रदेश के चर्चित हनीट्रैप मामले में एसआईटी कि जांच के बाद रोज नए खुलासे हो रहे है । अब इस मामले में चोकाने वाली जानकारी जांच टीम को मिली है कि प्रदेश के कई अधिकारी और पूर्व मंत्रियों भी इसमें लपेटे में आ गए है  जिनकी जांच की जा रही है।  कांग्रेसी नेता मानक अग्रवाल ने कहा  यह सब शिवराज जी के समय से शुरू हुआ। उन्होंने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत को शादी करने की भी सलाह दी है।
     कांग्रेस नेता मानक अग्रवाल ने कहा कि, इस मामले में एसआईटी जांच कर रही है। यह सब शिवराज जी के समय से शुरू हुआ। इसमें अधिक संख्या में बीजेपी के नेता शामिल हैं। यह अब 5-6 राज्यों तक फैल गया है। मानक अग्रवाल ने आरएसएस पर निशाना साधते हुए कहा कि आरएसएस के लोग शादी नहीं करते हैं यह भी एक वजह है इसके पीछे। आरएसएस के लोगों को शादी करनी चाहिए। मोहन भागवत को भी शादी करनी चाहिए। 
 'सबसे बड़ा ब्‍लैकमेलिंग सेक्‍स स्‍कैंडल' कहे जाने वाले इस मामले से जुड़ी चार हजार फाइलें जांच एजेंसियों को मिल चुकी हैं और फाइलों के मिलने का सिलसिला अभी लगातार जारी है। जांच कर रहे अधिकारियों को सेक्स स्कैंडल में शामिल महिलाओं से जब्त किए गए लैपटॉप और मोबाइल फोन में करीब चार हजार फाइलें मिली हैं। इनमें कई अश्लील चैट के स्क्रीनशॉट, अधिकारियों के अश्लील वीडियो, समझौता करने वाले अधिकारियों के वीडियो और ऑडियो क्लिप मिले हैं। इन ऑडियो और वीडियो क्लिप में बड़ी संख्या में कथित तौर पर नौकरशाह, मंत्री और पूर्व सांसद शामिल हैं।
    इधर हनी ट्रैप मामले की जांच दल को अनेक चोकाने वाली जानकारी मिल रही है। फंसाने वाली सुंदरियां अकसर राजधानी भोपाल के एक चर्चित क्‍लब में जाती थीं, जहां उनके लिए कुछ वरिष्‍ठ नौकरशाहों द्वारा कमरे बुक किए जाते थे। इन लड़कियों में कई तो मात्र 18 साल की हैं। पकड़ी गईं युवतियों के राजनीतिक रसूख का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इन्होंने या तो खुद ही राजनीतिक दल में बड़ा पद हासिल कर लिया था या उनके परिवार के सदस्यों को इसमें बड़ी जिम्मेदारी मिल गई थी। कोई गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) बनाकर चांदी काट रहा था तो कोई अफसरों और नेताओं को डरा-धमकाकर। 
  कॉलेज छात्राओं को फंसाकर सेक्स के लिए किया मजबूर! 
सुंदरियों के इस जाल में फंसने वालों में चार राज्‍यों के नेता और शीर्ष पदों पर बैठे नौकरशाह, व्‍यापारी, प्रॉजेक्‍ट इंज‍िनियर तक शामिल हैं। आलम यह है कि इस लिस्‍ट में रोज कई नाम जुड़ रहे हैं। ऐसा नहीं है कि इस गिरोह का सिर्फ वर्तमान दौर में ही बोलबाला है। आरोप है कि पिछली सरकार के कार्यकाल में भी इन्हें पर्याप्त संरक्षण मिला था। एक जांच अधिकारी ने कहा, 'ऐसे इनपुट हैं कि भोपाल के क्‍लब के चेक-इन रजिस्‍टर गायब हैं और लड़कियों की तस्‍वीर वाले अन्‍य रिकॉर्ड्स के साथ छेड़छाड़ की कोशिश की गई। इसमें सीसीटीवी कैमरा भी शामिल है।